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पौराणिक नगरी श्रोणितपुर का निवासी होना हमारे  लिऐ  गर्व और सौभाग्य की बात है।   ” विधायक विजय पाल सिंह”

  बाणासुर के राज  में भगवान शंकर ने                              अध्यक्ष बनकर निवास किया है सोहागपुर में

सोहागपुर ।   विश्व विरासत दिवस पर  विधायक विजय पाल सिंह राजपूत ने विवेकानंद विद्यालय में आयोजित कार्यक्रम में शिरकत करते हुए कहा कि

पौराणिक नगरी श्रोणितपुर का निवासी होना हमारे  लिऐ  गर्व और सौभाग्य की बात है।

उन्होंने विश्व विरासत दिवस के अवसर पर भारतीय पुरातत्त्व सर्वेक्षण, परियोजना (उ. क्षे.) भोपाल के संयुक्त तत्त्वावधान में  आयोजित कार्यक्रम में

सोहागपुर के पुरातात्त्विक इतिहास, महत्त्व, संरक्षण तथा जागरूकता पर व्याख्यान, प्रदर्शनी का अवलोकन किया साथ ही छात्रों के लिए  आयोजित की गई प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता में अव्वल आऐ छात्र छात्राओं को पारितोषिक वितरित किए ।

इस अवसर पर छात्रों द्वारा पुरातत्व एवं सोहागपुर के इतिहास के विषय में  पुरातत्व वेत्ता डॉ भुवन विक्रम से वाद- संवाद किया जिसमें डॉक्टर भुवन विक्रम, डॉ जलज तिवारी, डॉ राजेश मेहरा, डॉक्टर श्रीमती मिश्रा द्वारा छात्रों को पुरातत्व एवं सोहागपुर के इतिहास से परिचय कराते हुए जानकारी  दी गई ।

भोपाल से आई भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के अधिकारियों द्वारा प्राचीन शिव पार्वती मंदिर स्थित भगवान अर्धनारीश्वर की अद्भुत प्रतिमा के दर्शन करते हुए कहा कि भारतीय पुरातत्व के इतिहास में इस प्रकार की प्रतिमा के दर्शन उन्होंने आज तक नहीं किए।

कार्यक्रम के  मुख्य अतिथि विधायक विजयपाल सिंह द्वारा इस दौरान पूर्व मंडल अध्यक्ष स्वामी विवेकानंद स्कूल के संचालक अनिल गहरैया, एवं प्रांजल तिवारी को बधाई देते हुए कहा यह एक अद्भुत कार्यक्रम आयोजित किया गया । उन्होंने कहा कि सोहागपुर का इतिहास हमारी  वर्तमान और भावी पीढ़ी को भी पता होना चाहिए बच्चों को  भी इसकी जानकारी होनी चाहिए हमें अपनी विरासतों को खोजना सहेजना और सम्हालना  है ताकि आने वाली पीढ़ी इससे प्रेरणा ले सके ।

सोहागपुर का द्वापर कालीन पुरातिहास।                             उल्लेखित है शिव पुराण में

उल्लेखनीय है कि शिवपुराण के मुताबिक़ श्रोणितपुर राजा बाणासुर की राजधानी हुआ करती थी यहां से वह त्रैलोक्य पर शासन करता था ।

उसकी तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान शंकर ने पुत्रों परिवार और गणों सहित यहां निवास भी किया है

बाणासुर ने उनसे वरदान मांगा था कि वे उसके राज्य में पुत्रों परिवार और गणों सहित अध्यक्ष बनकर निवास करेंगे ।

संभवत:यही कारण है यहां की धरती और नदियां शिव परिवार की मूर्तियां उगलतीं है।

शिव पुराण में ही उल्लेख है कि यहां पर भगवान शंकर और श्री कृष्ण में बाणासुर को लेकर युद्ध भी हुआ था

और फिर बाणासुर की पुत्री राजकुमारी ऊषा और श्री कृष्ण के पौत्र अनिरुद्ध का विवाह भी हुआ।

इस अवसर पर पूर्व विधायक सविता दीवान शर्मा, नगर पंचायत अध्यक्ष लता यशवंत पटेल नगर परिषद उपाध्यक्ष आकाश रघुवंशी  भाजपा मंडल अध्यक्ष अश्वनी सरोज विवेकानंद विद्यालय की प्राचार्या अनीता गहरैय्या, विधायक प्रतिनिधि मिथिलेश ठाकुर,  समाजसेवी कन्नूलाल अग्रवाल, डॉक्टर सोमेश सटोके, ईशरपुर के स्वामी ईशानंद विजय छाबड़िया, विधायक प्रतिनिधि नीलेश खंडेलवाल, प्रदीप दुबे, शंकर लाल मालवीय, एवं बड़ी संख्या में छात्र छात्राएं एवं गणमान्य नागरिक उपस्थित थे ।

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